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प्रश्न पत्र लीक मामले पर पक्ष व विपक्ष आमने-सामने

सरकार ने सीआईडी काे सौंपी जांच 
 
प्रश्न पत्र लीक मामले पर पक्ष व विपक्ष आमने-सामने 
गुवाहाटी, 13 मार्च। हाई स्कूल के विज्ञान विषय के सोमवार को होने वाली परीक्षा को सेकेंडरी एजुकेशन बोर्ड आफ असम (सेबा) के रद्द करने को लेकर पूरे राज्य में हंगामा मचा है। विपक्ष के साथ छात्र संगठनों की विभिन्न प्रकार की प्रतिक्रिया सामने आ रही है। विपक्ष इसे सरकार की नाकामी बताकर शिक्षा मंत्री और सेबा के अध्यक्ष रमेश जैन को पद से हटाने की मांग कर रहा है। वहीं सत्ता पक्ष समय पर सरकार की कार्रवाई के लिए शिक्षा मंत्री का आभार जता रहा है। सरकार ने पेपर लीक मामले की जांच सीआईडी से कराने के निर्देश दिए हैं, वहीं सेवा भी विभागीय जांच करवा रहा है।

सोमवार को लाखों परीक्षार्थियों जब केन्द्रों पर पहुंचे, तब उन्हें परीक्षा केंद्र के बाहर नोटिस बोर्ड पर आज की परीक्षा रद्द करने की जानकारी मिली। बताया गया कि सेबा ने रविवार आधी रात को आज होने वाली विज्ञान परीक्षा का प्रश्न पत्र लीक होने के बाद रद्द कर दिया था। परीक्षा रद्द होने के बाद राजनीति शुरू हो गई। परीक्षा रद्द होने पर छात्रों और अभिभावकों ने असंतोष व्यक्त किया है।

परीक्षा रद्द करने के फैसले पर असम सरकार के मंत्री पीयूष हजारिका ने कहा, ''दोषपूर्ण परीक्षा प्रणाली को कैसे साफ किया जाए, इस पर उपाय किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि इस तरह की कार्रवाई सरकार को कठघरे में खड़ा करने के लिए किया गया है। हम दोषी व्यक्ति का पता लगाएंगे, कार्रवाई की जाएगी।'' इस बीच, विधायक प्रशांत फुकन ने कहा, "यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण बात है। मैं बहुत दुखी हूं। इसकी जांच सही तरीके से होनी चाहिए।''

राइजर दल पार्टी के एकमात्र एवं शिवसागर के विधायक अखिल गोगोई ने सत्ता पक्ष पर कटाक्ष करते हुए कहा, "परीक्षा का प्रश्न पत्र लीक हो जाता है। प्रश्न पत्र लीक मुद्दा गिनीज बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हो सकता है। गिनीज बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में बिहू के साथ ही इस मुद्दे को भी प्रधानमंत्री के आगमन पर यह कीर्तिमान स्थापित करना चाहिए। जब परीक्षा तारीख की घोषणा की जाती है, तो मुख्यमंत्री ट्वीट करते हैं, मुख्यमंत्री अब ट्वीट क्यों नहीं कर रहे हैं?

दूसरी ओर, सत्तारूढ़ पार्टी के विधायक दिगंत कलिता ने कहा, "जब हमारे शिक्षा मंत्री हैं, तो हम यह नहीं कह सकते कि हम असफल हो गए हैं। शिक्षा मंत्री इस पर कार्रवाई करेंगे।'' इस बीच, वामपंथी नेता विधायक मनोरंजन तालुकदार ने कहा है, यह सरकार की विफलता है। मंत्री को जल्द इस्तीफा दे देना चाहिए।

विधायक चक्रधर गोगोई ने कहा, 'क्या देश उलट-पुलट हो गया है? इतनी बड़ी घटना भी नहीं हुई। सही समय पर परीक्षा रद्द करने के लिए शिक्षा मंत्री को धन्यवाद दिया जाना चाहिए।''

मानकचार से विधायक अमीनुल इस्लाम ने कहा, 'यह सेबा को नष्ट करने की साजिश है। योजना असमिया माध्यम को नष्ट करने और इसे अंग्रेजी माध्यम की ओर आकर्षित करने की है। न केवल शिक्षा मंत्री विफल रहे हैं, बल्कि पूरी व्यवस्था विफल हो गई है। दोषी अधिकारी का तबादला नहीं करने के कारण यह हुआ है, 'सेबा को नष्ट करने के लिए ऐसे अधिकारी की आवश्यकता होती है'।

परीक्षा रद्द करने और प्रश्न पत्र के लीक होने के मुद्दे को लेकर विभिन्न छात्र संगठन एवं अन्य संगठनों के द्वारा भी प्रतिक्रियाएं सामने आ रही है। सरकार ने जहां इस मामले की जांच सीआईडी को सौंप दिया है, वहीं सेबा की ओर से भी पूरे मामले की विभागीय जांच की जा रही है।