महापुरुषों का अपमान और दलितों पर हाे रहे अत्याचाराें का संज्ञान लें सरकारें: मायावती
Apr 22, 2025, 13:59 IST

लखनऊ, 22 अप्रैल बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने मंगलवार काे महापुरुषों के अपमान और दलितों पर हाे रहे अत्याचार को लेकर केंद्र और राज्य सरकारों पर हमला बोला है। उन्होंने कहा कि डा.आंबेडकर का नाम सिर्फ दलितों के वोट पाने के लिए लिया जाता है, लेकिन उन्हें सम्मान नहीं दिया जाता। समाज को ऐसी स्वार्थी सरकारों से सावधान रहना चाहिए।
बसपा प्रमुख ने एक्स पर लिखा कि डा.आंबेडकर की जयंती पर इस बार देश के कई राज्यों में उनकी प्रतिमाओं का अनादर हुआ है। कार्यक्रम व जुलूस पर सामंती तत्वों के हमलों में अनेक लोग हताहत हुए। ऐसी घटनाएं अति-शर्मनाक हैं और इससे सरकारों के दोहरे चरित्र का प्रमाण देखने को मिलता है।
मध्य प्रदेश के मुरैना में हुई घटना का जिक्र करते हुए उन्हाेंने कहा कि आंबेडकर जुलूस के दौरान हमला हुआ। इसमें एक दलित की माैत हो गई और अनेक लाेग घायल हुए। दोषियों के विरूद्ध अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई हैं। इससे राज्य सरकार भी इसमें संलिप्तता को लेकर कटघरे में है।
उन्होंने कहा कि दलितों पर हो रहे अत्याचार और महान संतों-महापुरुषों के अपमान की घटनाओं का संज्ञान लेकर केंद्र और राज्य सरकरें सख्त कार्रवाई करें। इसे इसे रोकें, वरना इन वर्गों के लोग उन्हें कभी माफ नहीं करेंगे।
मायावती ने कहा कि ऐसी जातिवादी घटनाओं से स्पष्ट है कि केन्द्र व राज्य सरकारें डा. भीमराव आंबेडकर की जयंती आदि पर जो कार्यक्रम आयोजित करती हैं। वह सब दलितों के वोट के स्वार्थ की खातिर पूर्ण छलावा है। दलित समाज ऐसे दोहरे चाल, चरित्र व चेहरे वाली पार्टियों से जरूर सावधान रहें।
बसपा प्रमुख ने एक्स पर लिखा कि डा.आंबेडकर की जयंती पर इस बार देश के कई राज्यों में उनकी प्रतिमाओं का अनादर हुआ है। कार्यक्रम व जुलूस पर सामंती तत्वों के हमलों में अनेक लोग हताहत हुए। ऐसी घटनाएं अति-शर्मनाक हैं और इससे सरकारों के दोहरे चरित्र का प्रमाण देखने को मिलता है।
मध्य प्रदेश के मुरैना में हुई घटना का जिक्र करते हुए उन्हाेंने कहा कि आंबेडकर जुलूस के दौरान हमला हुआ। इसमें एक दलित की माैत हो गई और अनेक लाेग घायल हुए। दोषियों के विरूद्ध अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई हैं। इससे राज्य सरकार भी इसमें संलिप्तता को लेकर कटघरे में है।
उन्होंने कहा कि दलितों पर हो रहे अत्याचार और महान संतों-महापुरुषों के अपमान की घटनाओं का संज्ञान लेकर केंद्र और राज्य सरकरें सख्त कार्रवाई करें। इसे इसे रोकें, वरना इन वर्गों के लोग उन्हें कभी माफ नहीं करेंगे।
मायावती ने कहा कि ऐसी जातिवादी घटनाओं से स्पष्ट है कि केन्द्र व राज्य सरकारें डा. भीमराव आंबेडकर की जयंती आदि पर जो कार्यक्रम आयोजित करती हैं। वह सब दलितों के वोट के स्वार्थ की खातिर पूर्ण छलावा है। दलित समाज ऐसे दोहरे चाल, चरित्र व चेहरे वाली पार्टियों से जरूर सावधान रहें।

