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नई दिल्ली से पत्रकार ऊषा माहना की कलम से

 
 नई दिल्ली से पत्रकार ऊषा माहना की कलम से
  राष्ट्रपति पारंगत विधिवेत्ता आई आई टीएन श्री मुकेश जैन को सर्वोच्च न्यायालय का मुख्य न्यायधीश नियुक्त करे-हिन्दू संगठन

अखिल भारत हिन्दू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री मुन्ना कुमार शर्मा जी की अध्यक्षता में हुई हिन्दू संगठनों की बैठक में सांसद निशिकान्त दुबे और दिनेश शर्मा के ब्यान पर चर्चा की गयी। जिसमें श्री निशिकान्त दुबे जी कहा कि इस देश में धार्मिक युद्ध भड़काने के लिये केवल और केवल सर्वोच्च न्यायालय जिम्मेदार है। सर्वोच्च न्यायालय अपनी सीमा से बाहर जा रहा है। सर्वोच्च न्यायालय की सीमा है कि वो भारत के संविधान का पालन करे। सर्वोच्च न्यायालय इस देश को अराजकता की ओर ले जा रहा है। अराजकता इस देश में बर्दास्त नहीं होगी। 
बैठक में श्री मुन्ना कुमार शर्मा ने श्री निशिकान्त दुबे को धन्यवाद दिया कि उन्होंने उस सच को सामने लाया है जिसे हिन्दू महासभा और हिन्दू संगठन लगातार देश को बता रहे थे कि किस प्रकार से सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायधीश दीपक मिश्रा ने प्रधान मंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की हत्या के साजिशकर्ताओं को गिरफ्तारी के दिन ही जमानत दे दी। नक्सलवादियों की साथी और राष्ट्र विरोधी गतिविधियों में लिप्त तीस्ता जावेद शातलवाड़ को हमारे चन्द्रचूड़ साहब मुख्य न्यायधीश रहते हुए अवकाश काल में शनिवार को छुट्टी के दिन रातों रात दूसरी बार बी आर गवई की विशेष पीठ बैठाकर जमानत दिलवाते हैं।
बैठक में अटल जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष बम बम महाराज ने भी सर्वोच्च न्यायालय के जजों को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि जितना भी नक्सलवाद और पूर्वोत्तर का ईसाई आतंकवाद है वह हमारे सर्वोच्च न्यायालय के जजों की सरपरस्ती में चल रहा है। एक नक्सलवादियों का साथी मुख्य न्यायधीश दूसरे नक्सलवादियों के साथी जज को मुख्य न्यायधीश बनाने की सिफारिश करता है और उसे अपना उत्तराधिकारी बताता है।
बैठक में दारा सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री मुकेश जैन ने कहा कि संविधान का अनुच्छेद 124.2 के अनुसार सर्वोच्च न्यायालय का मुख्य न्यायधीश राष्ट्रपति जी को यह राय नहीं दे सकता कि अगला मुख्य न्यायधीश किसे बनाना है। किन्तु संविधान का सरासर उल्लंघन करके और संविधान के प्रति ली सत्य आस्था की शपथ को तोड़कर वर्तमान मुख्य न्यायधीश संजीव कुमार खन्ना ने उस बी आर गवई को अपना उत्तराधिकारी बताया है जिसने विदेशी फंडिंग पर पल रही देश की दुश्मन तीस्ता जावेद शीतलवाड़ को रात में सर्वोच्च न्यायालय खोलकर जमानत दी। महामहिम राष्ट्रपति संविधान के अनुच्छेद 124.3 ग में मिली शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए इसबार उनकी राय में पारंगत विधिवेत्ता को सर्वोच्च न्यायालय का मुख्य न्यायधीश बनाना चाहिये। जैसे 1967 में श्री कैलाश नाथ वांचू को मुख्य न्यायधीश बनाया गया था।
बैठक में ग्रामोदय फाउन्डेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री संजीव तिवारी ने बताया कि उन्होंने दिल्ली उच्च न्यायालय में धनंजय यशवन्त चन्द्रचूड़ की सर्वोच्च न्यायालय में मुख्य न्यायधीश पद पर असंवैधानिक नियुक्ति के खिलाफ एक याचिका लगायी थी। जिसे तत्कालीन दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायधीश सतीश चन्द्र शर्मा ने न केवल खारिज कर दिया बल्कि मेरे उपर 1 लाख रुपये का जुर्माना भी लगा दिया। बाद श्री चन्द्रचूड़ ने श्री सतीश चन्द्र शमा्र को सर्वोच्च न्यायालय का न्यायधीश बनवाने को पुरस्कार भी दिया। बैठक में सनातन धर्म रक्षा संघ के राष्ट्री अध्यक्ष श्री मानिक देशमुख ने बताया कि दारा सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री मुकेश जैन ने जब दीपक मिश्रा की नियुक्ति के खिलाफ सर्वोच्च न्यायालय में पहली बार याचिका दायर की थी तो उन पर न केवल सर्वोच्च न्यायालय के सुरक्षा इंचार्ज के बी मारवाह ने न केवल सर्वोच्च न्यायालय में जानलेवा हमला कराया बल्कि जगदीश सिंह खेहर और चन्द्रचूड़ ने जैन साहब पर 10 लाख रुपये का जुर्माना भी कर दिया। इस मामले की पुनर्विचार याचिका पर सुनवाई से बचने के सर्वोच्च न्यायालय के जजों ने श्री मुकेश जैन को साजिश रचकर 14 महीने के लिये ओड़िशा की बालेश्वर जेल में भेज दिया। बाद में चन्द्रचूड़ ने श्री जैन को जेल में डालकर उनकी पुनर्विचार खारिज करके उनके घर की कुर्की के भी आदेश जारी कर दिये। यहां तक कि श्री सर्वोच्च न्यायालय के जजों ने श्री जैन की हत्या की भी साजिश रची।

बैठक में हिन्दू संगठनों ने एक स्वर में कहा कि सर्वोच्च न्यायालय के अन्याय के खिलाफ देश को लगातार जागरूक करने वाले श्री मुकेश जैन ही अब आम जनता को न्याय दिला सकते हैं। जो कि एक आई आई टी इंजीनियर होने के साथ- साथ विधि के भी पारंगत है।
हिन्दू संगठनों ने महामहिम राष्ट्रपति जी से अनुरोध किया कि वे संविधान अनुच्छेद 124.3 ग में मिली शक्ति के तहत उनकी राय में पारंगत विधिवेत्ता श्री मुकेश जैन को सर्वोच्च न्यायालय का मुख्य न्यायधीश नियुक्त करके देश की जनता को न्याय प्रदान कराने की कृपा करें।