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कुमारी सैलजा ने सिरसा क्षेत्र के लिए दो नई रेल लाइनों की उठाई मांग

 
 कुमारी सैलजा ने सिरसा क्षेत्र के लिए दो नई रेल लाइनों की उठाई मांग
 चंडीगढ़, 30  दिसंबर। 

अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की महासचिव, पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं सिरसा की सांसद कुमारी सैलजा ने क्षेत्र के समग्र विकास को ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार से सिरसा-रानियांं-टिब्बी तथा सिरसा-भादरा नई रेल लाइन के निर्माण की मांग की है। इस संबंध में सांसद ने रेल मंत्री को पत्र लिखकर इन दोनों रेल परियोजनाओं के सर्वेक्षण और शीघ्र स्वीकृति का आग्रह किया है।

सांसद कुमारी सैलजा ने अपने पत्र में कहा है कि हरियाणा, पंजाब और राजस्थान के सीमावर्ती क्षेत्रों के विकास के लिए ये दोनों रेल मार्ग अत्यंत आवश्यक हैं। सिरसा-रानियां-टिब्बी रेल मार्ग न केवल क्षेत्रीय संपर्क को मजबूत करेगा, बल्कि दिल्ली, श्रीगंगानगर और सीमा क्षेत्र तक सीधी रेल सुविधा उपलब्ध कराएगा, जिससे आम जनता को बड़ी राहत मिलेगी। सांसद ने कहा कि यह रेल मार्ग किसानों, व्यापारियों और उद्योग जगत के लिए अत्यंत लाभकारी सिद्ध होगा। कृषि उत्पादों, विशेषकर कपास, गेहूं और अन्य फसलों के परिवहन में सुविधा होगी, जिससे किसानों को बेहतर दाम मिल सकेंगे। साथ ही व्यापारिक गतिविधियों को भी गति मिलेगी।

सांसद कुमारी सैलजा ने बताया कि प्रस्तावित सिरसा-भादरा रेल लाइन उत्तर और दक्षिण भारत को जोड़ने में एक वैकल्पिक रेल कॉरिडोर के रूप में कार्य करेगी। इससे यात्रियों के साथ-साथ माल परिवहन को भी सुविधा मिलेगी और हरियाणा-पंजाब क्षेत्र के औद्योगिक विकास को नया बल मिलेगा। कुमारी सैलजा ने कहा कि ये दोनों रेल परियोजनाएं सामरिक दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। सीमा क्षेत्र से जुड़े होने के कारण आपातकालीन परिस्थितियों में सेना और राहत सामग्री के आवागमन में भी यह मार्ग उपयोगी सिद्ध होगा। कुमारी सैलजा ने केंद्र सरकार से आग्रह किया कि इन दोनों रेल लाइनों का शीघ्र सर्वे कराकर इन्हें मंजूरी प्रदान की जाए, ताकि भविष्य में क्षेत्र के लोगों को बेहतर यातायात सुविधा, रोजगार के अवसर और आर्थिक विकास का लाभ मिल सके।

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श्रमिक कल्याण के नाम पर 1500 करोड़ का घोटाला, भाजपा सरकार का असली चेहरा उजागर

सांसद कुमारी सैलजा न कहा कि हरियाणा श्रमिक कल्याण बोर्ड में लगभग 1500 करोड़ रुपये का घोटाला और 13 जिलों में 91 प्रतिशत वर्क स्लिप व 87 प्रतिशत श्रमिक पंजीकरण का फर्जी पाया जाना भाजपा सरकार के भ्रष्ट शासन का सबसे बड़ा प्रमाण है। ये आंकड़े स्पष्ट करते हैं कि भाजपा सरकार ने श्रमिकों के कल्याण के लिए बनी योजनाओं को लूट का माध्यम बना दिया। जिन योजनाओं से मेहनतकश मजदूरों को सम्मान, सुरक्षा और सहायता मिलनी थी, उन्हें सत्ता के संरक्षण में भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ा दिया गया। यह केवल लापरवाही नहीं, बल्कि सुनियोजित और संगठित भ्रष्टाचार है, जिसमें गरीब और श्रमिक वर्ग के अधिकारों पर सीधा हमला किया गया है। कांग्रेस पार्टी इस पूरे घोटाले की उच्चस्तरीय जांच और दोषियों पर कठोर कार्रवाई की मांग करती है।